Saturday, May 5, 2007

कटारा जी के इस्तेमाल

कटाराजी के इस्तेमाल
आलोक पुराणिक
जो लोग नेताओँ को पब्लिक के लिए कटार समझते हैं,उन्हे समझना चाहिए कि कटाराजी भी हैं। भाजपा के बाबूभाई कटाराजी ने जो हुनर दिखाया है,उससे साफ होता है कि सांसद सिर्फ सांसद निधि, ठेकों, पेट्रोल पंपों को खाने के ही काम नहीं आते, उनके दूसरे भी काम हैं।
इस खाकसार का मानना है कि अगर कटाराजी की कायदे का इस्तेमाल किया जाये, तो सबसे आगे होंगे हिंदुस्तानी, कई मामलों में।
कटाराजी का प्रयोग नंबर एक तो यह है कि उन्हे रिहा किया जाना चाहिए फिर देश का स्वास्थ्यमंत्री का जनसंख्या सलाहकार टाइप का कुछ पद दिया जाना चाहिए। जनसंख्या बढ़ रही है,सब परेशान हैं। कटाराजी के होते जनसंख्या बढ़ेगी, तो पर कनाडा वालों की। हर हफ्ते पतली गली से सौ-दो सौ जहाज भर कर ले जायें। कुछेक सालों में टोरंटो से सांसद होने काबिल हो जायेंगे कटाराजी।
यूरोप के कुछ नन्हे-मुन्ने देशों पर इंडिया वालों का कब्जा तो पचास-साठ हफ्ते में ही हो लेगा। अब जैसे पूरे फिनलैंड की आबादी करीब पचास लाख है। दिल्ली के करोलबाग जैसे पांच –छह मुहल्ले वहां लादकर ले गये, तो फिनलैंड कटारालैंड हो जायेगा। फिनलैंड टाइप देशों के लोग तो भारत सरकार से प्रार्थना करेंगे कि प्लीज इसका नाम बदला नहीं जाये, इसे फिनलैंड ही रहने दिया जाये, उसे कटारालैंड न घोषित किया जाये। मुझे तो बहुत दिव्य सपना दिखायी दे रहा है-फिनलैंड की संसद में कटाराजी भाषण दे रहे हैं और उनसे फिनलैंड वाले कह रहे हैं, प्लीज हमें भी यहीं रहने दिया जाये, प्लीज। या फिनलैंड के ओरिजनल बंदे कटाराजी से चिरौरी करेंगे, भईया ये देश तो आपने भर दिया, अब हमें किसी और देश में पार करवा दो। कटाराजी पार करवा देंगे और मोटी फारेन करेंसी इंडिया को कमा कर देंगे।
कटाराजी यूं भी कर सकते हैं कि बंगलादेश चले जायें। वहां उन्हे लोग बहुत सम्मान के साथ वहां के नेताओं को ट्रेनिंग देने के काम में लगा देंगे। कटाराजी वहां के नेताओं को यह ट्रेनिंग देंगे कि कैसे तड़ीपार हुआ जाता है। बंगलादेशियों के सबसे बड़ा नेता कौन होंगे-जी अपने बाबूभाई कटाराजी।
और एक काम करके तो कटाराजी राष्ट्र सेवा ही करेंगे। कटाराजी को कश्मीर भेज दिया जाये और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर पर लगा दिया जाये। कटाराजी हर हफ्ते कुछ बंदों को उधर करते रहें। फिर एक दिन पाकिस्तानी कश्मीर अपना होगा। फिर हम कश्मीर तक क्यों रुकें। कराची, लाहौर क्या दूर हैं। घुसपैठियों, तुम्हारी बंदूक-कटार का जवाब हम कटाराजी हैं।

No comments: